बाड़मेर, 01 नवम्बर। विज्ञान एवं प्रौधागिकी विभाग भारत
सरकार नई दिल्ली से आये वैज्ञानिक दलो ने तीन दिवसीय बाड़मेर दौरे के दौरान बायफ
द्वारा संचालित विभिन्न गतिविधियों का अवलोकन किया।
बायफ प्रभारी डॉ राघवेन्द्र दूबे ने बतया कि विज्ञान एवं प्रौधोगिकी विभाग से
आये वैज्ञानिक दलों का संचालन मुख्य वैज्ञानिक डॉ देवप्रिया दत्ता द्वारा किया गया
है। भ्रमण के दौरान परियोजना के विभिन्न गतिविधियों का अवलोकन किया गया। जिसमे
वाडी कार्यक्रम, जल संरक्षण कार्य, बकरी एवं भैड़ विकास परियोजना, सौर उर्जा, महिला कार्य बोझ एवं महिला स्वयं सहायता समूह तथा किसानों के साथ में वैज्ञानिक संवाद किया
गया। वैज्ञानिक दल ने बाड़मेर जिले में संचालित कार्यक्रम के तहत ग्राम काउका खेड़, उडण्खा एवं बलाऊ गावों के कार्य का निरीक्षण कर संबंधित
विभागीय अधिकारियों को विकास कार्यक्रम में गति लाने के लिए उत्प्ररित किया।
इस दौरान बायफ द्वारा संचालित मरूस्थलीय अनुशंधान केन्द्र उण्डखा के भवन का
उदघाटन किया गया। इस दौरान डॉ देवप्रिया दत्ता जल संरक्षण कार्यो को बढावा देने का
सुझाव दिया। काजरी पाली के प्रभारी एवं अध्यक्ष डॉ.ए.के. शुक्ला के द्वारा
न्यूट्रिशनल गार्डन लगाने के उपर सुझाव दिया। केन्द्रिय भैड़ अनुशंधान केन्द्र
अविकानगर के वैज्ञानिक डॉ. राजीव गुल्यानी के द्वारा किसानों को उन्नत भेड़ एवं
बकरी पालन के बारे में विस्तार से जानकारी देकर किसानों की आय बढाने के तरीके
बताये। आफरी जोधपुर वैज्ञानिक डॉ. रंजन आर्या द्वारा खेतों के मेड़ों के ऊपर
जंगलाती एवं चारा बीज के पौधे लगाने के बारे में विस्तार से बताया। भारतीय कृषि
अंनुशंधान संस्थान नई दिल्ली वैज्ञानिक डॉ. आर.एन. पडारीया द्वारा बायफ एवं डीएसटी
कोर सपोर्ट के द्वारा संचालित खेती आधारित विभिन्न मॉडल को अपना कर एवं बाजार
व्यवस्था को सुनिचित करते हुए किसानों की आय बढाने का सुझाव दिया। विज्ञान एवं
प्रौधोगिकी विभाग भारत सरकार नई दिल्ली से डॉ सुनिल अग्रवाल ने सौर उर्जा आधारित
उपकरणों का समन्वित संचालन कृषि आधारित खेती में काम करने के उपर जोर दिया। भ्रमण
दल के साथ बायफ पुना एवं उदयपुर से डॉ. राजेश्री जोशी, डॉ. अविनाश देव, सागर कड़ाव, जयप्रकाश शर्मा, हेमलराज सोलंकी, बायफ गुजरात डॉ. मनुभाई चावड़ा, सागर गोमकाले, बाबूभाई झाला एवं बाड़मेर
से डॉ राघवेन्द्र दूबे, नगीन पटेल, हरीश शर्मा, संजय वर्मा, आर.के. पठान, गोपाल व्यास एवं किसानो
एवं स्वयं सहायता समूह की महिलाओं की भी उपस्थिति रही।