विशेष ग्राम सभा
मंे वार्षिक, पंचवर्षीय विकास योजना एवं गांधी जी के
आदर्शाें से संबंधित 17 सूत्रांे तथा विकास योजनाआंे की क्रियान्विति
पर चर्चा
बाड़मेर,
11 दिसंबर। राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के
ग्राम स्वराज के सपने को साकार करने एवं प्रत्येक व्यक्ति तक आधारभूत सुविधाआंे
एवं विकास योजनाआंे का लाभ पहुंचाने के लिए बुधवार को महात्मा गांधी आदर्श ग्राम
बायतू चिमनजी में विशेष ग्राम सभा का आयोजन हुआ। जिला प्रमुख श्रीमती प्रियंका
मेघवाल, जिला कलक्टर अंशदीप, मुख्य
कार्यकारी अधिकारी मोहनदान रतनू, प्रधान गेरो देवी, उपखंड
अधिकारी विवेक व्यास समेत विभिन्न जन प्रतिनिधियांे एवं प्रशासनिक अधिकारियांे तथा
सैकड़ांे ग्रामीणांे की मौजूदगी मंे महात्मा गांधी आदर्श ग्राम की वार्षिक, पंच
वर्षीय विकास योजना एवं गांधी जी के आदर्शों से संबंधित 17
सूत्रों तथा योजनाओं की प्रभावी क्रियान्विति पर चर्चा की गई।
इस अवसर पर जिला कलक्टर अंशदीप ने कहा कि
राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के ग्राम स्वराज के सपने को साकार करने के लिए समन्वित
विकास पर ध्यान देना होगा। उन्हांेने कहा कि अंतिम व्यक्ति तक आधारभूत सुविधाआंे
के साथ विकास योजनाआंे का लाभ पहुंचे, इस दिशा मंे गंभीरता के कार्य करने की जरूरत
है। उन्हांेने गांव मंे आधारभूत सुविधाआंे सड़कांे एवं नालियांे के निर्माण, पानी, बिजली, शिक्षा, चिकित्सा, रोजगार
के साथ आमजन के सर्वागीण विकास के लिए कार्य योजना बनाने की बात कही। उन्हांेने
कहा कि स्थानीय स्तर पर रोजगार उपलब्ध करवाने की कार्य योजना के साथ इस लिहाज से
कार्य किया जाए कि दूसरे गांव उससे प्रेरणा लें। उन्हांेने कहा कि विकास कार्याें
के लिए बजट की कमी नहीं आएगी। उन्हांेने ग्राम के विकास के लिए सरकार एवं आमजन की
भागीदार की जरूरत जताई। जिला प्रमुख श्रीमती प्रियंका मेघवाल ने महात्मा गांधी
आदर्श गांव मंे बायतू चिमनजी गांव के चयन के लिए शुभकामनाएं देते हुए कहा कि
पंचायतीराज विभाग की ओर से यथासंभव गांव के विकास के लिए सहयोग किया जाएगा।
उन्हांेने महिला सशक्तिकरण एवं आंगनबाड़ी स्तर से बच्चांे मंे अच्छे संस्कार देने
की जरूरत जताई। उन्हांेने कहा कि राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के आदर्शाें पर चलने
की शुरूआत स्वयं से करनी होगी। जिला परिषद के मुख्य कार्यकारी अधिकारी मोहनदान
रतनू ने कहा कि राष्ट्रपिता महात्मा गांधी ने कहा था कि स्वच्छता ही ईश्वर है।
उनके ग्राम स्वराज का सपना गांवांे को हर लिहाज से आत्म निर्भर बनाने से पूरा
होगा। उन्हांेने सामाजिक समरसता, सर्व धर्म समभाव, नशा मुक्त समाज के निर्माण की जरूरत
जताई। मुख्य कार्यकारी अधिकारी रतनू ने महात्मा गांधी आदर्श गांव की प्रस्तावित
कार्य योजना के बारे मंे विस्तार से जानकारी दी। विशिष्ठ वक्ता एवं राजकीय महिला
महाविद्यालय के प्राचार्य डा. हुकमाराम सुथार ने महात्मा गांधी के जीवन से जुड़े
विविध पहलूआंे पर विस्तार से प्रकाश डालते हुए कहा कि शांति एवं अहिंसा के जरिए
जीवन के हर क्षेत्र मंे विकास कर सकते है। उन्हांेने कहा कि पंचायतीराज की
साथर्कता सता के विकेन्द्रीकरण मंे है। राष्ट्रपिता महात्मा गांधी इसके पक्षधर थे।
इस अवसर पर बायतू उपखंड अधिकारी विवेक व्यास,
तहसीलदार ममता लहुआ, पूर्व
प्रधान सिमरथाराम, सरपंच भंवरलाल, बायतू भोपजी सरपंच आसूराम, अधिशाषी
अभियंता राजेन्द्रसिंह, सुश्री लता कच्छवाह, कार्यवाहक
विकास अधिकारी चन्द्रप्रकाश, उप सरपंच नरेन्द्र कुमार शर्मा समेत विभिन्न जन
प्रतिनिधि एवं विभागीय अधिकारी उपस्थित रहे। प्रोफेसर मुकेश पचौरी ने कार्यशाला का
संचालन करते हुए राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के जीवन से जुड़े विविध पहलूआंे पर
प्रकाश डाला। कार्यक्रम के अंत मंे बायतू चिमनजी के सरपंच भंवरलाल ने सबका आभार
जताते हुए गांव के सर्वागीण विकास करवाने का भरोसा दिलाया। कार्यशाला मंे विभिन्न विभागीय
अधिकारियांे ने प्रस्तावित कार्य योजना के बारे मंे विस्तार से जानकारी दी। इस
दौरान जिला कलक्टर अंशदीप ने स्वयं सहायता समूह की महिलाआंे को एक-एक लाख के चैक
वितरित किए।
एक सप्ताह मंे
कार्य योजना भिजवाएं: बायतू चिमनजी ग्राम पंचायत मुख्यालय पर विशेष सभा के दौरान
ग्राम विकास की योजना पर व्यापक रूप से विचार-विमर्श के साथ संबंधित विभागीय
अधिकारियांे को एक सप्ताह की अवधि मंे प्रस्तावित कार्य योजना भिजवाने के निर्देश
दिए गए है।
ऐसे
बनेगा महात्मा गांधी आदर्श ग्राम :
राज्य सरकार ने गांधीवादी जीवन मूल्यों के अनुसरण एवं विभिन्न विकास योजनाओं के
अभिसरण के आधार पर समुदाय के सहयोग से समग्र विकास के लिए प्रत्येक जिले में एक
महात्मा गांधी आदर्श ग्राम का चयन करने का निर्णय लिया है। ताकि शिक्षा, स्वास्थ्य, खेल, बिजली, कृषि, जल
संरक्षण, श्रमदान,
स्वच्छता सहित ऐतिहासिक धरोहरों के
संरक्षण एवं नारी सशक्तिकरण जैसे विविध कार्यक्रम ग्राम के समग्र विकास प्लान के
तहत हो सकें।
यह
है 17 सूत्री कार्यक्रम : महात्मा गांधी आदर्श ग्राम योजना में 17
सूत्री कार्यक्रमों के क्रियान्वयन के लिए मासिक प्रगति का प्रतिवेदन तैयार होगा।
इसमें परिवार कल्याण कार्यक्रम, आंगनबाडी,
टीकाकरण, शत-प्रतिशत नामांकन, चारागाह
विकास, तालाब विकास कार्य, श्मसानध्
कब्रिस्तान विकास कार्य, खेल मैदान विकास कार्य, प्रधानमंत्री
आवास योजना-ग्रामीण, राजीविका के महिला स्वयं सहायता समूहों का गठन, महिला
स्वयं सहायता समूहों को बैंक ऋण, पोषण वाटिका, कौशल विकास प्रशिक्षण, प्रतिमाह
द्वितीय शनिवार को सामूहिक स्वच्छता श्रमदान,
राष्ट्रीय पर्वों यथा स्वतंत्रता दिवस, महात्मा
गांधी जयंती एवं गणतंत्र दिवस का आयोजन, मेरा गांव-मेरा गौरव दिवस का आयोजन एवं ग्राम
विकास योजना का क्रियान्वयन के वार्षिक व पंचवर्षीय लक्ष्य की रिपोर्ट सुनिश्चित
करनी होगी।
पांच
वर्षों में समग्र विकास के साथ यह कार्य होंगे : चयनित महात्मा गांधी आदर्श ग्राम में
जनसंख्या नियंत्रण की महती आवश्यकता को ध्यान में रखते हुए परिवार कल्याण
कार्यक्रम को मजबूती से लागू करना, पात्र दंपत्तियों को प्रेरित एवं प्रोत्साहित
करना है। गर्भवती एवं धात्री महिलाओं, बालक-बालिकओं को सुपोषण व स्वास्थ्य के महत्व, टीकाकरण
एवं कुपोषण के विरूद्ध क्रियांवित किए जा रहे राष्ट्रीय कार्यक्रमों में सहयोग
किया जाएगा। ग्राम में नशामुक्त समाज की स्थापना के प्रयास, नशाखोरी
के दुष्प्रभाव की जानकारी व सेवन पर प्रतिबंध लगाने, गुणवत्तापूर्ण जीवन के लिए शिक्षा के
साथ कौशल प्रशिक्षण, शत प्रतिशत नामांकन और समानता का माहौल बनाना
है।
प्राकृतिक
संसाधनों को संरक्षण भी :
गांव में कुंआ, बावडी,तालाब, नदी,चारागाह,
गोचर, ओरण, जमीन, जंगल, पहाड़ इत्यादि को संरक्षित करके प्रदूषण
एवं अतिक्रमण मुक्त रखा जाएगा। वन्य प्राणियों,
वनस्पतियों व जैव विविधता संरक्षण एवं
पौधारोपण को बढावा दिया जाएगा। ऐतिहासिक विरासत, सांस्कृतिक धरोहर, धार्मिक
स्थल, श्मसान,
कब्रिस्तान की सुरक्षा व संरक्षण के
काम होंगे।
संसाधन
विकास पर जोर : ग्राम में सामाजिक, सांस्कृतिक
व आर्थिक विकास को बढावा देने के लिए बिजली,
पेयजल, सड़क, स्कूल, खेल मैदान, पार्क, स्वास्थ्य
केंद्र, स्वरोजगार प्रशिक्षण केंद्र, संचार
के साधन, बैंक, मंडी व हाट बाजार जैसे जरूरी संसाधनों की
उपलब्धता सुनिश्चित करने के विकास कार्यों का प्रयास किया जाएगा। आवास एवं शौचालय
जैसी सुविधाओं से गरीब व कमजोर लोगों को लाभांवित कराना, रोजगार
सृजन व सामुदायिक संपत्ति निर्माण के कार्यक्रमों को जनहित में जवाबदेही से लागू
करना है।
स्वयं
सहायता समूहों का गठन :
रोजगार के लिए कृषि भूमि पर निर्भरता को कम करने के लिए गैर-कृषि क्षेत्र को बढावा
देने के लिए स्वयं सहायता समूहों का गठन, विभिन्न आर्थिक गतिविधियों के चयन व समूहों को
बैंक ऋण दिलाने का काम किया जाएगा।
14 नवंबर को मेरा गांव-मेरा गौरव दिवस : गांव में जाति, धर्म,क्षेत्र,भाषा व संप्रदाय के आधार पर होने वाले
भेदभावों का विरोध कर सामाजिक सौहार्द कायम कर समरसता बढ़ाने के कार्य होंगे। वहीं
प्रतिवर्ष 14 नवंबर को मेरा गांव-मेरा गौरव दिवस मनाया
जाएगा। इसमें प्रातःकाल स्वच्छता श्रमदान उत्सव, मध्याह्न में खेलकूद प्रतियोगिता एवं
सायंकाल में सांस्कृतिक कार्यक्रम स्थानीय विद्यालय के सहयोग से होगा।
महिलाओं
को बनाया जाएगा आत्मनिर्भर :
इस आदर्श गांव में गैर कृषि क्षेत्र को बढ़ावा दिया जाएगा। स्वयं सहायता समूहों के
गठन, समूहों को बैंक ऋण दिलाने के लिए कार्य किया
जाएगा, ताकि महिलाएं भी आत्मनिर्भर बन सकें। सामाजिक
एवं आर्थिक विकास को बढ़ावा देने के लिए बिजली,
पेयजल, खेल मैदान, पार्क, स्वरोजगार
प्रशिक्षण केंद्र, संचार के साधन, बैंक मंडी, हाट
बाजार एवं जरूरी संसाधन की उपलब्धता के लिए प्रयास किया जाएगा। बागवानी, जैविक
खेती, कम जल खपत वाली फसल पैदावार को बढ़ावा दिया
जाएगा। खेतों के प्रति युवाओं के घटते रुझान को भी बदल कर इनको खेती की ओर से फिर
से आकर्षित करने का प्रयास किया जाएगा।
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