बाड़मेर, 10 नवंबर। चिकित्सकांे की हड़ताल गैरकानूनी एवं अवैधानिक है। राज्य सरकार की ओर से
लगातार वार्ता के उपरांत भी चिकित्सक काम पर नहीं लौटे हैं। आमजन को राहत प्रदान करने
के लिए राज्य सरकार की ओर से रेस्मा लागू कर दिया गया है।
जिला कलक्टर शिवप्रसाद मदन नकाते ने बाड़मेर जिले के समस्त चिकित्सकांे से जनहित
मंे काम पर लौटने का आहवान किया है। उन्हांेने बताया कि जो चिकित्सक काम पर लौटेगा
उसके खिलाफ रेस्मा के तहत कार्रवाई नहीं की जाएगी। इसके अलावा जो चिकित्सक कार्य पर
नहीं लौटेगा अथवा चिकित्सा सेवाआंे मंे बाधा डालेगा, उसके खिलाफ रेस्मा के तहत कड़ी कार्रवाई की जाएगी। उन्हांेने
बताया कि मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी, प्रमुख चिकित्सा अधिकारी एवं अन्य प्रशासनिक पदांे पर कार्य
करने वाले चिकित्सक अगर वापिस कार्यभार नहीं संभालंेगे तो उनका पद स्थापन निरस्त कर
दिया जाएगा। उनको वापिस जूनियर पद चिकित्सा अधिकारी के रूप मंे कार्य करना होगा। जिला
कलक्टर ने बताया कि जो चिकित्सक काम पर नहीं लौटेगा,उनको आवंटित किए गए सरकारी आवास निरस्त एवं सीज करने की कार्रवाई
प्रक्रियाधीन है। जिला मुख्यालय पर शुक्रवार को एक चिकित्सक का आवास सीज किया गया।
जिला कलक्टर ने बताया कि आमजन को चिकित्सा सुविधाएं मुहैया कराने के लिए निजी चिकित्सालयांे
की ओर से भी सहयोग दिया जा रहा है। जिला मुख्यालय पर नेत्र ज्योति चिकित्सालय की ओर
से शनिवार को चिकित्सक उपलब्ध कराया जाएगा। इसके अलावा अन्य चिकित्सालय भी सेवाआंे
के लिए आगे आए है।
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